हरिद्वार। दिल्ली के जामिया हमदर्द विश्वविद्यालय में देश के ख्याति प्राप्त आयुर्वेदिक मनीषी पंडित शिव शर्मा द्वारा स्थापित अंतरराष्ट्रीय संगठन आई ए एस ए एम (इंडियन एसोसिएशन फॉर द स्टडी ऑफ ट्रेडिशनल एशियन मेडिसिन) द्वारा इंटरनेशनल कॉन्क्लेव ऑन मल्टी टारगेटेड थिरैप्यूटिक्स इन युनानी एंड आयुर्वैदिक मेडिसिन एंड फूड सप्लीमेंट के दो दिवसीय कार्यक्रम में उत्तराखंड आयुर्वेद विश्वविद्यालय के माननीय कुलपति प्रोफेसर सुनील जोशी जी को प्रसिद्ध वैद्य श्री जुगतराम जी की स्मृति में शल्य चिकित्सा एवं मर्म चिकित्सा के क्षेत्र में उल्लेखनीय अद्वितीय योगदान के लिए अंतरराष्ट्रीय प्रतिष्ठित सम्मान आई. ए. एस. टी. ए.एम. अवार्ड से सम्मानित किया गया।
इस अवार्ड को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आयुर्वेद के क्षेत्र में विशिष्ट एवं उल्लेखनीय कार्य करने वाले ख्याति प्राप्त विद्वानो को प्रतिवर्ष प्रदान किया जाता है। इस वर्ष यह सम्मान श्रीमती शैलजा चंद्रा, आईएएस, पूर्व सचिव आयुष विभाग, भारत, प्रोफेसर आर.एन. आचार्य, महानिदेशक, केंद्रीय आयुर्वेदिक अनुसंधान परिषद नई दिल्ली, प्रोफेसर अभिमन्यु कुमार, मा० कुलपति,सर्वपल्ली राधाकृष्ण आयुर्वेदिक विश्वविद्यालय जोधपुर, डॉ गीता कृष्णन टी.सी.आई. आयुष, विश्व स्वास्थ संगठन,जेनेवा , डॉक्टर लियाकत अली कुलपति बांग्लादेश यूनिवर्सिटी हेल्थ साइंस ढाका, डॉक्टर प्रोफेसर राकेश शर्मा अध्यक्ष बोर्ड ऑफ एथिक्स एंड रजिस्ट्रेशन, भारतीय चिकित्सा आयोग (एन.सी.आई.एस.एम.), भारत सरकार, मधु दीक्षित पूर्व निदेशक सीएसआइआर, सीडीआरआई, लखनऊ आदि को संस्था के अध्यक्ष डॉ० सी.के. कटियार, सचिव -डॉ० कीर्ति भारती एवं जामिया हमदर्द के कुलपति प्रोफेसर एम.अफसर आलम तथा अन्य विशिष्ट अतिथियों की उपस्थिति में जामिया हमदर्द विश्वविद्यालय में दिनांक 29 एवं 30 जुलाई के कॉन्क्लेव के दौरान प्रदान किया गया।
संस्था के अध्यक्ष डॉक्टर कटियार ने बताया कि हमारी संस्था पंडित शिव शर्मा डॉक्टर के. एन. उडुपा,डॉ० पारीख, डॉ०एस के जैन आदि महानतम आयुर्वेद विद्वानों के विचारों पर स्थापित है । उन्होंने कहा प्रोफेसर सुनील जोशी जी बनारस हिंदू विश्वविद्यालय के अत्यंत मेधावी एवं विलक्षण प्रतिभा के धनी एवं दक्ष आयुर्वेदिक सर्जन रहे हैं, आपके द्वारा आयुर्वेदिक पद्धति से सफल शल्य क्रियाएं की गई, आयुर्वेद में वर्णित मर्म विज्ञान को स्थापित करके विश्व पटल पर आयुर्वेदिक शल्य को स्थापित करने में सक्रिय योगदान दिया है। आपको बता दें कि डॉक्टर जोशी को इससे पूर्व भी देश के विशिष्ट सम्मान यथा – आयुर्वेद भूषण, आयुष रत्न, उत्तराखंड रत्न, ऋषि कुल रत्न, गोल्ड मेडल(आई.सी.आई.एम.- 96), स्टार मेडल आदि विशिष्ट सम्मान/ अवार्ड से सम्मानित किया जा चुका है। प्रतिष्ठित राष्ट्रीय पत्रिका पाञ्चजन्य में आप के विशिष्ट कृतित्व एवं व्यक्तित्व के लिए, आपके कार्य एवं मर्म चिकित्सा को प्रकाशित कर विश्व पटल के में लाने के लिए भारत के प्रसिद्ध व्यक्तित्व की श्रृंखला में पूरे पृष्ठ का स्थान दिया गया। डॉ जोशी जी को इस सम्मान प्राप्त होने पर विश्वविद्यालय के शिक्षक गणों अधिकारी गण स्टाफ कर्मियों द्वारा प्रशंसा व्यक्त की गई व डॉ जोशी को शुभकामनाएं एवं बधाइयां प्रेषित की गई। स्थानीय गणमान्य नागरिकों को समाजसेवियों प्रबुद्ध विद्युत जन शिक्षक गणों, मीडिया बंधुओं , स्थानीय पार्षद आदि ने शुभकामनाएं अर्पित की।