मुख्यमंत्री ने कहाः समाज में बदलाव लाने के लिये जरूरी है कि हमें जो भी दायित्व सौंपा गया है उसका बेहतर ढ़ंग से निर्वहन किया जाय

उत्तराखंड देहरादून

देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने रविवार को मुख्यमंत्री आवास स्थित मुख्य सेवक सदन में 108 एम०पैक्स के कम्प्यूटरीकरण का शुभारम्भ करने के साथ ही मुख्यमंत्री घस्यारी कल्याण योजना के अन्तर्गत साइलेज उत्पादन एवं विपणन सहकारी संघ लि० के संयुक्त उद्यम टोटल मिक्स राशन की छरबा इकाई का शिलान्यास किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि सहाकारिता की मूल अवधारणा है कि उसमें सबका सहयोग हो। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के विजन के अनुरूप प्रदेश भी डिजिटल ट्रांजेक्शन की ओर बढ़ रहा है।

इसका ही प्रतिफल है कि इसके माध्यम से लाभार्थी को पूरी की पूरी धनराशि डीबीटी के माध्यम से उसके खाते में जमा हो रही है इससे चोर बाजारी के रास्ते भी बन्द हुए है, जबकि इस सम्बन्ध में पूर्व प्रधानमंत्री स्व. राजीव गांधी ने कहा था कि यदि किसी लाभार्थी को दिल्ली से 100 रूपये स्वीकृत होते हैं तो लाभार्थी तक 15 रूपये ही पहुंच पाते हैं। डिजिटल ट्रांजेक्शन के माध्यम से इस व्यवस्था में बदलाव आया है। अब लाभार्थी को शत प्रतिशत धनराशि प्राप्त हो रही है। मुख्यमंत्री ने कहा कि तेलंगाना के बाद उत्तराखण्ड दूसरा राज्य है जहां 670 पेक्स के कम्प्यूटीकरण की प्रक्रिया गतिमान है जिनमें से 108 एम पेक्स का कम्प्यूटरीकरण का कार्य पूर्ण किया जा चुका है, इसके तहत राज्य सरकार द्वारा सहकारी बैंक एवं नाबार्ड के सहयोग से 37.52 करोड़ की लागत से इन प्राथमिक सहकारी संस्थाओं को डिजिटल प्लेटफार्म पर लाने के प्रयास किये गये हैं।

यह डिजिटल इंडिया के क्रियान्वयन में भागीदारी सुनिश्चित करने का भी सार्थक प्रयास है। एम पैक्स कम्प्यूटरीकरण से खातो को आनलाइन किये जाने तथा समिति के सदस्यों के लगभग 10 लाख से अधिक खातों को डिजिटल प्लेटफार्म पर आने से राज्य के 30 लाख से अधिक ग्रामीण जन लाभात्वित होंगे। हमारी इस योजना को राष्ट्रीय स्तर पर सराहा भी गया है। सहकारिता के क्षेत्र में उठाये गये सुधारात्मक कदम बेस्ट प्रेक्टिस के रूप में पहचान बनाये इसके प्रयास हो। मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि प्रदेश में मुख्यमंत्री घस्यारी कल्याण योजना पिछले वर्ष केन्द्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री श्री अमित शाह जी के कर कमलों द्वारा शुरू की गई थी।

हमारी माताओं बहनों जिनकों अपने पशुओं के घास के लिये दूरदूर जाना पड़ता है तथा आपदा का सामना करना पड़ता है, उन सबको इससे निजात कैसे मिल सकती है इन सभी का समाधान है मुख्यमंत्री घस्यारी कल्याण योजना। मुख्यमन्त्री ने कहा कि राज्य के पशुपालकों को पोषण प्रणाली में हो रहे प्रौद्योगिक विकास से जोड़ते हुये मुख्यमंत्री घस्यारी कल्याण योजना के अन्तर्गत उत्तराखण्ड के दूरस्थ ग्रामीण पर्वतीय क्षेत्रों के पशुपालकों को पैक्ड सायलेज उनके घर पर उपलब्ध कराये जाने की व्यवस्था की जा रही है साथ ही सायलेज उत्पादक एवं विपणन सहकारी संघ लि0 के द्वारा टी०एम०आर० यूनिट के शिलान्यास से पशुपालकों को फायदा होगा।

इस योजना का उद्देश्य एक लाख से अधिक महिलाओं लाभार्थियों को रियायती दरों पर सायलेज फीड ब्लॉक उपलब्ध कराकर चारे के बोझ से मुक्त किया जा रहा है जिससे पशुओं के स्वास्थ्य और दूध की पैदावार में वृद्धि होगी। मुख्यमंत्री ने कहा स्व निधि योजना, मुद्रा योजना के साथ ही सामाजिक पैंशन, कृषि, बागवानी, औद्यानिकी आदि की योजनाओं का लाभ तत्परता से सभी सम्बन्धित को प्राप्त हो इसके लिये हम प्रयासरत है। उन्होंने कहा कि हमारा उद्देश्य समस्याओं को अटकाने में नही बल्कि समाधान का है। केन्द्र एवं राज्य सरकार द्वारा संचालित जन कल्याणकारी योजनाये उत्तराखण्ड के नव निर्माण में मील का पत्थर साबित होंगी।

इस सम्बन्ध में सभी विभागों द्वारा 2025 तक का रोड मेप तैयार किया जा रहा है। समाज के अन्तिम पंक्ति में खड़े व्यक्ति के जीवन में बदलाव लाकर ही प्रदेश आगे बढ़ सकता है। हर जरूरत मंद को योजनाओं का लाभ प्राप्त हो इसके लिये सरलीकरण समाधान एवं निस्तारण के मंत्र के साथ कार्य किया जा रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि समाज में बदलाव लाने के लिये जरूरी है कि हमें जो भी दायित्व सौंपा गया है उसका बेहतर ढ़ंग से निर्वहन किया जाय, जब हम अपने दायित्वों को पूरे मनोयोग एवं इमानदारी के साथ निर्वहन करेंगे तो इससे समाज में बदलाव आने के साथ स्वंय में आत्मिक संतुष्टि का भाव भी उत्पन्न होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि आजादी के अमृत महोत्सव के अवसर पर स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के सम्मान में विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन किया जा रहा है।

प्रदेश के 20 लाख घरों में 13 से 15 अगस्त तक हर घर में राष्ट्रीय ध्वज लगाये जाने तथा 02 अगस्त से सभी लोगों से अपनी सोशल साइट प्रोफाइल पर तिरंगा लगाये जाने के अभियान का हिस्सा बनने की भी मुख्यमंत्री ने सभी से अपील की। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री द्वारा विभिन्न महिला स्वयं सहायता समूहों को ऋण भी वितरित किये गये जिनमें शंभु महिला समूह, राधेस्याम महिला समूह, मां पार्वती महिला समूह व हेमा महिला समूह को पाचंपांच लाख रूपये के ऋण प्रदान किये गये। इस अवसर पर सहकारिता मंत्री डॉ0 धन सिंह रावत ने कहा कि प्रदेश में 33 लाख लोग सहकारिता से जुड़े है, सहकारिता के ऑनलाईन होने से लोगों को अपने खाते की पूरी जानकारी प्राप्त हो रही है। देश के कई राज्यों में प्रदेश की सहाकारिता कम्प्यूटरीकरण कार्य प्रणाली अपनाई जा रही है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में अब तक 6.41 लाख लोगों को बिना ब्याज के 37 करोड़ का ऋण उपलब्ध कराया गया है तथा 3837 महिला समूहों को पांचपांच लाख के ऋण उपलब्ध कराये जा चुके है। उन्होंने कहा कि महिला समूहों के साथ ही पुरूष समूहों को भी ऋण उपलब्ध कराये जाने की व्यवस्था की जायेगी। इस अवसर पर विधायक श्री मुन्ना सिंह चौहान, सचिव मा0 मुख्यमंत्री श्री आर. मीनाक्षी सुन्दरम, सचिव सहकारिता डॉ. बी.आर.सी. पुरूषोतम सहित अन्य गणमान्य उपस्थित थे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *